प्रधानमंत्री मोदी को मिला बलूच नेता का खौफनाक खत! अब क्या होगा पाकिस्तान का? दुनियाभर में मचा हड़कंप!
कश्मीर में आतंकी हमले का भारत ने ‘ऑपरेशन सिंदूर’ से कड़ा जवाब दिया है। मौजूदा समय में दोनों देशों के बीच भले ही संघर्ष विराम हो, लेकिन उनके संबंध बेहद तनावपूर्ण बने हुए हैं। भारत ने साफ कर दिया है कि अगर पाकिस्तान ने दोबारा आतंकी गतिविधियां शुरू कीं तो उसे मुंहतोड़ जवाब मिलेगा।
इसी बीच बलूचिस्तान लंबे समय से पाकिस्तान के खिलाफ मुखर रहा है और अब एक बलूच नेता का पत्र दिल्ली में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के दफ्तर पहुंचा है।
जानकारी के मुताबिक, बलूचिस्तान के पूर्व मंत्री और बलूच अमेरिकन कांग्रेस के नेता ताराचंद बलूच ने भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र भेजा है। इस पत्र में उन्होंने स्वतंत्रता दिवस पर लाल किले से प्रधानमंत्री के भाषण और उसमें बलूचिस्तान के जिक्र के लिए भारत के प्रति आभार व्यक्त किया है।
ताराचंद बलूच ने भारत के प्रधानमंत्री के प्रति आभार व्यक्त करते हुए लिखा है, “आपने लाल किले के अपने भाषण में बलूचिस्तान का जिक्र कर दुनिया भर में बलूच लोगों को नैतिक समर्थन का संकेत दिया है, जो पाकिस्तान के कब्जे में पराधीन और आतंकवादी राष्ट्र के रूप में हैं।” साथ ही, मौजूदा स्थिति में जब भारत और पाकिस्तान के संबंध कड़वे हैं, तो उस पत्र में पाकिस्तानी सेना पर कड़ा हमला किया गया है। बलूच नेता ने लिखा है, “जिहादी सेना द्वारा शासित यह कमजोर धारणा वाला देश मेरे हजारों देशवासियों के लापता होने, यातना, मौत और विस्थापन के लिए जिम्मेदार है।” इतना ही नहीं, ताराचंद बलूच ने सिंधु जल संधि को निलंबित करने के मोदी के विवेकपूर्ण फैसले की भी प्रशंसा की है।
विशेषज्ञों का कहना है कि मौजूदा हालात में बलूचिस्तान के इस नेता द्वारा भारत के प्रधानमंत्री को भेजा गया यह पत्र बेहद महत्वपूर्ण है। उनका मानना है कि अगर बलूचिस्तान, जो पहले से ही पाकिस्तान के खिलाफ मुखर है, भारत के प्रधानमंत्री के साथ ठीक से गठबंधन करता है, तो आने वाले दिनों में पाकिस्तान की स्थिति अच्छी नहीं रहेगी। बल्कि वे कहते हैं कि आज से ही पाकिस्तान की चिंता और बढ़ गई है। विशेषज्ञों का मत है कि अगर बलूचिस्तान और भारत मिलकर कोई बड़ी योजना बनाते हैं तो आने वाले दिनों में पाकिस्तान को भयानक खतरे का सामना करना पड़ सकता है।