खाना पकाने के बर्तन और प्लास्टिक फर्नीचर बेचकर आज बने करोड़पति, जानिए सफल व्यवसायी की पहचान

भारत के अरबपतियों की सूची में अब एक नया नाम जुड़ गया है – प्रदीप राठौड़। सेलो वर्ल्ड के चेयरमैन के तौर पर वह वर्तमान में विभिन्न हलकों में चर्चा का केंद्र बने हुए हैं। उनकी स्वामित्व वाली कंपनी सेलो वर्ल्ड मुख्य रूप से विभिन्न प्रकार के बर्तन, घरेलू सामान और अन्य उपभोक्ता उत्पाद बनाने के लिए एक अत्यंत प्रसिद्ध और लोकप्रिय नाम है।

हाल ही में उनकी स्वामित्व वाली कंपनी के शेयरों के मूल्य में उल्लेखनीय वृद्धि होने के कारण उन्होंने इस प्रतिष्ठित सूची में स्थान बनाया है।

प्रदीप राठौड़ के स्वामित्व वाले सेलो वर्ल्ड के ४४ प्रतिशत शेयरों का वर्तमान बाजार मूल्य अब एक बिलियन अमेरिकी डॉलर या भारतीय मुद्रा में लगभग ८३०० करोड़ रुपये से अधिक है। इसी अपार संपत्ति के कारण उन्होंने भारत के अरबपतियों की सूची में प्रवेश किया है। सेलो वर्ल्ड आमतौर पर बाजार में तीन मुख्य प्रकार के सामान बेचता है। वे हैं रसोई की आवश्यक सामग्री (जैसे – बर्तन, कंटेनर), लिखने का सामान (जैसे – पेन, पेंसिल) और विभिन्न प्रकार के प्लास्टिक और लकड़ी के फर्नीचर।

सेलो वर्ल्ड का एक लंबा और सफल व्यावसायिक इतिहास रहा है। कंपनी की स्थापना १९७४ में मुंबई में घीसुलाल राठौड़ ने की थी। शुरुआत में उन्होंने मुख्य रूप से रसोई के सामान बनाने पर जोर दिया और तेजी से ग्राहकों का भरोसा जीता। बाद में उन्होंने धीरे-धीरे अपने उत्पादों की सूची और उत्पादन क्षमता बढ़ाई और विभिन्न प्रकार के घरेलू और अन्य सामान बनाना शुरू किया।

विशेष रूप से २०१७ से सेलो ने अपने व्यवसाय के दायरे और उत्पादन क्षमता को अत्यंत तेज गति से बढ़ाया है। वर्तमान में सेलो वर्ल्ड के पूरे भारत में कुल १३ अत्याधुनिक कारखाने या उत्पादन इकाइयां हैं। दमन, हरिद्वार, बद्दी, चेन्नई और कोलकाता जैसे महत्वपूर्ण स्थानों पर उनकी उत्पादन इकाइयां स्थापित की गई हैं। कंपनी वर्तमान में राजस्थान में कांच के सामान बनाने के लिए एक नई और बड़ी इकाई खोलने की योजना पर भी काम कर रही है, जो उनके व्यवसाय के विस्तार में और मदद करेगी।

कंपनी का वित्तीय प्रदर्शन भी अत्यंत मजबूत है और लगातार वृद्धि देखी जा रही है। सेलो का शुद्ध लाभ या नेट मुनाफा पिछले एक साल में (पिछ पिछले वित्तीय वर्ष की तुलना में २०२३ वित्तीय वर्ष) ३० प्रतिशत बढ़ा है। पिछले वित्तीय वर्ष में कंपनी का शुद्ध लाभ २१९.५२ करोड़ रुपये था, जो २०२३ वित्तीय वर्ष में बढ़कर २८५ करोड़ रुपये हो गया। इसी मजबूत profitability ने कंपनी के शेयर की कीमत में तेजी से वृद्धि में सहायता की है।

प्रदीप राठौड़ को प्लास्टिक और थर्मोवेयर निर्माण उद्योग में लगभग ४० वर्षों का लंबा और समृद्ध अनुभव है। वह वर्तमान में सेलो वर्ल्ड के चेयरमैन और एक महत्वपूर्ण निदेशक भी हैं। व्यवसाय की अगली पीढ़ी और प्रबंधन में उनके बेटे गौरव राठौड़ और भाई पंकज राठौड़ संयुक्त रूप से इस व्यवसाय में मैनेजिंग डायरेक्टर (Joint MD) के पद पर हैं और व्यवसाय के संचालन में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे हैं।

शेयर बाजार में भी सेलो वर्ल्ड के शेयरों की जबरदस्त मांग देखी गई है। हिंदुस्तान टाइम्स की एक रिपोर्ट के अनुसार, बीएसई में कंपनी के १३.३१ लाख शेयर और एनएसई में १.७९ करोड़ शेयरों का कारोबार हुआ है। हाल ही में कंपनी के प्रारंभिक सार्वजनिक प्रस्ताव या आईपीओ में भी शेयरों की जबरदस्त मांग थी। आईपीओ में प्रति शेयर की कीमत ६१७ से ६४८ रुपये तय की गई थी, जिससे कंपनी के बाजार मूल्य और निवेशकों की रुचि का अंदाजा लगाया जा सकता है। प्रदीप राठौड़ का अरबपतियों की सूची में प्रवेश सेलो वर्ल्ड की व्यावसायिक सफलता और भारतीय उपभोक्ता उत्पाद उद्योग की बढ़ती ताकत का ही प्रतिबिंब है।

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